MP दौरे पर आए आनंद शर्मा, BJP सरकार पर साधा निशाना
मध्यप्रदेश के दौरे पर आए पूर्व केंद्रीय मंत्री और कांग्रेस नेता आनंद शर्मा ने राजधानी भोपाल में प्रेस वार्ता कर बीजेपी और पीएम मोदी पर जमकर हमला बोला। पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा एमपी में इतना ज्यादा भ्रष्टाचार हुआ कि कोई भी क्षेत्र नहीं बचा। व्यापमं घोटाला, नर्सिंग घोटाला, पटवारी भर्ती घोटाला, यहां तक कि भगवान को तक भी नहीं छोड़ा। सीएम शिवराज को लेकर उन्होंने कहा कि तीन बार तो वो मुख्यमंत्री रहे ही लेकिन चौथी बार चोरी बेईमानी से सरकार बना ली।
शर्मा ने कहा कि, बीजेपी में सब के सब लोग अपने आपको प्रस्तुत करते है भारत के धर्म और संस्कृति के रक्षक के रूप में। पीएम मोदी आज 13वीं बार एमपी आ रहे है। उनका अधिकार है 26 बार आए, लेकिन इतना कहूंगा कोई असर नहीं होने वाला है, बीजेपी चुनाव हार रही है। तीन तीन केंद्रीय मंत्रियों को चुनाव मैदान में उतार दिया, जिससे साफ जाहिर होता है कि हार उन्हें किस प्रकार से डर है।
पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा कि, पीएम यहां आ रहे है और अगर गंभीर आरोपों पर चुप रहे, अपने मंत्री परिषद के सदस्य तोमर के बारे में तथ्य क्या है, इस पर प्रधानमंत्री चुप नहीं रह सकते। संवैधानिक पद पर आसीन चाहे उनके केंद्र के मंत्री हो या फिर मुख्यमंत्री अगर बाते जनता के समक्ष आई है, आरोप लगे है तो उस पर पीएम मोदी को जवाब देना चाहिए। उन्होंने कहा कि संवैधानिक व्यवस्था पर लगातार चूक हो रही है। ED,CBI और IT का दुरुपयोग विपक्ष को दबाने के लिए किया जा रहा है, जो गलत है। जो उनके साथ है वो सेफ है जो पहले जेल में थे वे अब उनके साथ नजर आते है।
शर्मा ने कहा, आपकी इतनी मजबूत संस्थाए है, चुनाव आयोग तो देख नहीं रहा है। उन्होंने इशारों में कैलाश विजयवर्गीय पर भी निशाना साधते हुए कहा कि उन्हें पता चला कि वे अपने क्षेत्र में टेलीविजन, मोटरसाइकल बांट रहे है। उन पर गंभीर आरोप भी है, तो इंदौर में भेजो आईटी, ED की टीम को। तोमर के तरफ भेजो वो कभी नहीं होगा और इसकी हम अपेक्षा भी नहीं करते।
आनंद शर्मा ने कहा मोदी सरकार ने हिमाचल प्रदेश को फंड नहीं दिया। उन्होंने कहा कि लोगों ने भाजपा को वोट नहीं दिया इसलिए भेदभाव कर रहे है। कांग्रेस सरकार को केंद्र सरकार पैसा नहीं दे रही है। हिमाचल प्रदेश में इतनी तबाही हुई, केंद्र सरकार से कोई मदद नहीं मिली। जबकि गुजरात में कोई साइक्लोन आया तो पूरा देश जुट गया, केंद्र सरकार की ओर से राहत मिली। हिमाचल की जनता ने वोट नहीं दिया तो उनको मदद भी नहीं दी।